Protest for Monarchy in Nepal : भारत का पड़ोसी देश नेपाल की जनता राजशाही की मांग कर रही है। हिन्दू राष्ट्र बनाने के समर्थन में शुक्रवार से लगातार प्रदर्शन हो रहा है। प्रदर्शन धीरे-धीरे एक विकराल रूप लेता गया। प्रदर्शन कर रही इस भीड़ को जब पुलिस ने रोकने की कोशिश की तो इसने हिंसा का रूप ले लिया।
नेपाल की राजधानी काठमांडू में बीते दिनों प्रदर्शनकारियों ने खूब तोड़-फोड़ की। इस दौरान आगजनी भी हुई। जानकारी के अनुसार पुलिस और प्रदर्शन कर रहे लोगों के बीच हुई झड़प में एक पत्रकार और दो अन्य लोगों की मौत ही गयी।
कौन कर रहा है राजशाही की मांग ?
नेपाल में इन दिनों लोकतंत्र से लोग ऊब चुके हैं। अब नेपाल की जनता अपने राजा का राज्य चाहती है। बड़ी संख्या में लोग राजशाही की मांग के लिए प्रदर्शन कर रहे हैं। यह प्रदर्शन राष्ट्रीय प्रजातंत्र पार्टी (RPP) के द्वारा आयोजित किया गया है। RPP देश में राजशाही स्थापित करने की मांग कर रही है। इस आंदोलन में शामिल कई लोगों को पुलिस ने हिंसा फैलाने के जुर्म में गिरफ्तार भी किया है।
काठमांडू पुलिस ने RPP के महासचिव और सांसद धवल शमशेर राणा और पार्टी के वरिष्ठ उपाध्यक्ष रवींद्र मिश्र समेत पांच लोगों को गिरफ़्तार किया है।
Nepal के वामपंथी संगठनों ने दी चेतावनी
शुक्रवार को उठी राजशाही की मांगो का वाम संगठनों ने विरोध किया है। वाम नेताओं ने नेपाल के पूर्व राजा नरेश ज्ञानेंद्र को चेतावनी दी कि उनकी सत्ता को फिर से हासिल करने की इच्छा उन्हें महंगी पड़ सकती है। वाम संगठनों के द्वारा निकाली गयी रैली में नेपाल के वर्तमान प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली की सरकार का भी विरोध किया गया।
नेपाल का इतिहास
नेपाल में करीब 240 साल तक राजतंत्र था, लेकिन 2008 में इसे समाप्त कर दिया गया और देश को संघीय लोकतांत्रिक गणराज्य घोषित किया गया। 2015 में, नेपाल धर्मनिरपेक्ष राज्य बना। फिर भी, कुछ समूहों, विशेष रूप से सांस्कृतिक और धार्मिक आधार पर, राजतंत्र की वापसी को लेकर आंदोलन कर रहे हैं। हिंदू राष्ट्र की भी मांगों को लगातार उठा रहे हैं।
प्रदर्शन में कैसे हुयी हिंसा ?
प्रदर्शन की शुरुआत शांतिपूर्ण थी, लेकिन जल्दी ही यह हिंसक हो गया। प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच झड़पें हुईं, जिसमें आगजनी, तोड़फोड़ और लूटपाट शामिल थीं। जानकारी के अनुसार इस हिंसा में एक पत्रकार समेत पांच लोगों की मौत हो गई। करीब 30 लोग घायल हुए, जिसमें आधी संख्या पुलिस की थी। इस दौरान संपत्ति को भी भारी नुकसान पहुंचा, 8 वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया, भटभटेनी सुपरमार्केट को लूट लिया गया, और विभिन्न राजनीतिक और मीडिया कार्यालयों पर हमले हुए।
काठमांडू में लगा कर्फ्यू
सरकार ने स्थिति को नियंत्रित करने के लिए सेना तैनात कर काठमांडू में कर्फ्यू लगा दिया, जो शुक्रवार शाम से शनिवार सुबह तक लागू रहा। सरकार ने घायलों के लिए मुफ्त उपचार की व्यवस्था की है। इस प्रदर्शन में RPP के महासचिव और वरिष्ठ उपाध्यक्ष भी शामिल थे। पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया है, साथ ही पुलिस दुर्गा प्रसाई की भी तलाश में जुटी है।
READ MORE : Oxford University में Mamta Banerjee का विरोध, BJP ने किया पलटवार