आज केंद्र सरकार ने ब्रिटिश कालीन भारतीय दंड संहिता, भारतीय साक्ष्य अधिनियम और आपराधिक प्रक्रिया संहिता की जगह लेने वाले भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता और भारतीय साक्ष्य अधिनियम को लेकर अधिसूचना जारी की है। इस में बताया गया है कि यह तीन नए क्रिमिनल लॉ (Criminal law) 1 जुलाई से लागू कर दिए जाएंगे।
नए क्रिमिनल लॉ (Criminal law) के होंगे ये फायदे
इन तीन क्रिमिनल लॉ (Criminal law) के लिए बिल शीतकालीन सत्र के दौरान पास किए गए है। तीनों बिलों पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु की सहमति मिलने के बाद इन बिलों को कानून बना दिया गया था जिसे अब जुलाई महीने में लागू कर दिया जाएगा। माना जा रहा है कि इन नए कानूनों के कारण मॉब लिंचिंग, आतंकवादी साजिश, दंगे जैसे मामलों में बेहद सख्ती हो जाएगी।
कानून में हुए ये बड़े बदलाव
नए कानून भारतीय न्याय संहिता में 20 अपरोधों को बड़ा दिया गया है तो वहीं आपीसी से 19 प्रावधानों को हटाया है। इस के साथ ही 83 अपराधों में जुर्माना बढ़ाया गया है और 23 अपराधों में न्यूनतम सज़ा बढ़ाई गई है। वहीं ऐसे 6 अपराध हैं जिनमें सज़ा के तौर पर सामाजिक सेवा का दंड दिया जाएगा।
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