Supreme Court: ‘वारिस पंजाब दे’ संगठन के प्रमुख और खडूर साहिब से सांसद अमृतपाल सिंह को सुप्रीम कोर्ट से राहत नहीं मिली है। सोमवार, 10 नवंबर को सुप्रीम कोर्ट ने उनकी याचिका पर सुनवाई करने से इनकार कर दिया। अमृतपाल ने अपनी एनएसए (राष्ट्रीय सुरक्षा कानून) के तहत की गई हिरासत को चुनौती दी थी।
जस्टिस अरविंद कुमार और जस्टिस एनवी अंजारिया की बेंच ने कहा कि अमृतपाल अपनी याचिका पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट में दाखिल करें। कोर्ट ने हाईकोर्ट को निर्देश दिया कि वह इस याचिका पर छह हफ्ते के भीतर फैसला सुनाए।
अमृतपाल सिंह के वकील कॉलिन गोंजाल्विस ने दलील दी कि उनके मुवक्किल को ढाई साल से हिरासत में रखा गया है और जिस एफआईआर पर कार्रवाई हुई थी, उसकी चार्जशीट भी दाखिल हो चुकी है। उन्होंने कोर्ट से तुरंत सुनवाई की मांग की, लेकिन अदालत ने इसे हाईकोर्ट को भेज दिया।
अमृतपाल सिंह और उनके नौ सहयोगी वर्तमान में असम की डिब्रूगढ़ जेल में बंद हैं। कोर्ट ने कहा कि लद्दाख के सामाजिक कार्यकर्ता सोनम वांगचुक के मामले से यह केस अलग है, क्योंकि परिस्थितियां भिन्न हैं। सुप्रीम कोर्ट ने साफ किया कि फिलहाल इस मामले पर कोई सुनवाई नहीं होगी।